ओढ़ कर सितारों की चुनर, बनी चांदनी चांद की दुल्हन। ओढ़ कर सितारों की चुनर, बनी चांदनी चांद की दुल्हन।
संदली बहे बयार, झंकृत होते सितार, हर दिन ही बहार, हर्षित हो मेघ बहे । संदली बहे बयार, झंकृत होते सितार, हर दिन ही बहार, हर्षित हो मेघ बहे ।
कवि हृदय बस प्रेम धन शब्दों से वो धन वार दे कवि हृदय बस प्रेम धन शब्दों से वो धन वार दे
एक खूबसूरत शाम, चाँद के बहाने एक खूबसूरत शाम, चाँद के बहाने
अँधेरे तूफां को समेटे वह सारी हकीकत मेरी झुकी पलकों पर ठहरी हुई हैं ,तुम , चाँद और मैं डूबे हुए है... अँधेरे तूफां को समेटे वह सारी हकीकत मेरी झुकी पलकों पर ठहरी हुई हैं ,तुम , चाँ...
(चाँद उस दिन से हँसना भूल गुमसुम हो गया) (चाँद उस दिन से हँसना भूल गुमसुम हो गया)